१.
इकबाल होगा बुलंद तेरा भी, जो हो तुझे अपनी कोशिशों पर यकीन
खुद पर एतबार न करने वालों का , नामों निशाँ मिट जाता है.
2.
किनारों पर बैठ लहरों का मजा कभी मिलता है क्या
चलो लहरों को अपनी जिन्दगी का , हमसफ़र करें
3.
एहसास उसके करम का , मुझको जो हो जाए
मेरी जिन्दगी की , एक नई सुबह हो जाए
4.
उसके कायदे और करम पर है मुझको यकीं
इसी एहसास को अपना हमसफ़र बना , जी रहा हूँ मैं
5.
कुर्बान उस खुदा की राह पर , खुद को कर दूं
मेरे इस अरमान को उस खुदा का करम हो नसीब
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